छत्तीसगढ़

पोषण माह के अंतिम दिन स्वच्छता ही सेवा अभियान चलाया गया

हितग्राहियों के घर जाकर तैयार किया गया पोषण वाटिका

 पत्रकार कुंजूरात्रे महासमुंद ।30 सितंबर 2024/ महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा पिछले एक महीने से विभिन्न आंगनबाड़ी केंद्रों पर चलाए जा रहे पोषण माह का समापन स्वच्छता ही सेवा अभियान चलाकर किया गया। इस अवसर पर सामुदायिक सहभागिता से स्वच्छता और सफाई के महत्व को भी बताया गया। हितग्राहियों के घरों में जाकर पोषण वाटिका तैयार किया गया। साथ ही भारत सरकार द्वारा सातवें राष्ट्रीय पोषण माह के समापन अवसर पर यहां वेबिनार के माध्यम से कार्यक्रम का श्रवण किया गया। आज शहरी परियोजना अंतर्गत पंचशील वार्ड में सक्षम आंगनबाड़ी केन्द्र में स्वच्छता ही सेवा, जागरूकता, पोषण और स्वास्थ्य शिविरों का आयोजन किया गया। समापन अवसर पर पोषण माह में किए गए गतिविधियों का पुनः वाचन कर उसके उद्देश्यों को स्मरण किया गया। इस दौरान पार्षद श्री मनीष शर्मा, यूनानी डॉ. असफाक अहमद, पर्यवेक्षक शीला प्रधान, कुंती यादव, रीतु सिन्हा, कीर्ति परोहा, राजेश्वरी निषाद, दुलारी, आंगनबाड़ी कार्यकर्ता सुधा रात्रे मौजूद थी। सफाई कार्यक्रम के पश्चात पार्षद श्री मनीष शर्मा ने राष्ट्रीय पोषण माह द्वारा संचालित गतिविधियों के लिए महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा चलाए गए अभियान की सराहना की गई ।तत्पश्चात स्थानीय सुशील सैम्युअल वार्ड में हितग्राहियों के घर जाकर पोषण वाटिका तैयार करने की विधि बताई गई और भाजी व अन्य सब्जियों के बीज रोपण कर पोषण वाटिका तैयार किया गया। इस अवसर पर महिला एवं बाल विकास विभाग की शहरी परियोजना की परियोजना अधिकारी श्रीमती शैल नाविक एवं पर्यवेक्षक शीला प्रधान ने पोषण वाटिका के महत्व को बताया। उन्होंने माह भर संचालित गतिविधियों की जानकारी देते हुए बताया कि पोषण माह मुख्य रूप से महिलाओं, बच्चों और किशोरों के स्वास्थ्य और पोषण में सुधार पर केंद्रित था। पोषण माह में स्थानीय प्रशासन और सरकारी एजेंसियों के साथ-साथ सामाजिक संगठनों ने भी इसमें सक्रिय भूमिका निभाई। इसके अलावा, बच्चों और गर्भवती महिलाओं के पोषण स्तर में सुधार लाने के लिए विभिन्न जागरूकता अभियान, पोषण पखवाड़े, और पोषण थाली जैसे कार्यक्रमों का आयोजन किया गया। कार्यक्रम के दौरान, कुपोषण को कम करने, स्वस्थ जीवनशैली को प्रोत्साहित करने, और पोषक आहार के महत्व पर बल दिया गया। पोषण माह के दौरान, ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में विशेष रूप से आंगनवाड़ी केंद्रों और स्कूलों में पोषण संबंधी जागरूकता कार्यक्रमों पर जोर दिया गया, ताकि आने वाली पीढ़ी को एक स्वस्थ जीवन की नींव प्रदान की जा सके। उन्होंने जनप्रतिनिधियों व सेक्टर अंतर्गत सभी आंगनबाड़ी के कार्यकर्ताओं, सहायिका तथा जनसमुदाय से मिले समर्थन के लिए आभार व्यक्त किया है।

 

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